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जयपुर राजस्थान की जनता को आने वाले सालों में महंगी बिजली से सामना करना पड़ सकता है। मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने सोमवार को बजट भाषण में इस बात के साफ संकेत दिए हैं।
राजे ने साल 2015-16 का बजट भाषण पेश करते हुए प्रदेश की ऊर्जा स्थिति पर कहा कि बिजली कंपनियों को घाटे से उबारने के लिए आगामी वर्षो में कठोर निर्णय लेने जरूरी होंगे। राजे ने इसके लिए पक्ष-विपक्ष समेत आमजन से महंगी बिजली के लिए तैयार रहने का आग्रह किया।
राजे ने राजस्थान विद्युत तिरण सुधार प्रबंधन बिल लाने की घोषणा भी की। जानकारों की माने तो इस बिल के आने से बनने वाले कानून के बाद बिजी कंपनियों को हर साल अपनी दरों में संशोधन करने और अन्य सेवाओं के दामों में बढ़ोतरी की खुली छूट मिल जाएगी।
संशोधनों के लिए बिजली कंपनियों को राज्य सरकार की मंजूरी की जरूरत नहीं होगी। मालूम हो कि इस बाबत बिल का प्रस्ताव पिछली सरकार के कार्यकाल से अटका हुआ है।
राजे ने कहा कि बीती कांग्रेस सरकार के कार्यकाल में बिजी कंपनियों की माली हालत इतनी बिगड़ गई कि वर्तमान में इन कंपनियों पर 77 हजार करोड़ रूपए का घाटा है। इस घाटे को पाटना जरूरी हो गया है। इसके लिए सरकार को कठोर फैसले लेने होंगे।
राजे ने इस वर्ष कृषि कार्य के लिए 40000 कृषि कनेक्श्सन देने की घोषणा भी की तथा पंडित दीनदयाल बिजली योजना के तहत किसानों व गरीब ग्रामीण परिवारों को बिजली कनेक्शन देने की घोषणा की।
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